रायपुर समेत प्रदेश के 14 नगर निगमों में महापौर का आरक्षण 27 दिसंबर को साइंस कालेज आडिटोरियम में होगा। सुबह साढ़े दस बजे से प्रदेश के 14 नगर निगमों का आरक्षण होगा। इस बार रायपुर नगर निगम की सीट सामान्य नहीं रहेगी। सामान्य महिला, ओबीसी और ओबीसी महिला में से कोई एक का आरक्षण होगा। तीन में से दो संभावना महिला सीट की है और सिर्फ एक संभावना पुरुष के लिए है। रायपुर समेत प्रदेश के सभी नगर निगमों का चुनाव होना है। इसके लिए आरक्षण 27 दिसंबर को होगा। चुनाव से जुड़े जानकारों का कहना है कि इस बार निगमों का आरक्षण रोटेशन आधार पर होगा। वर्तमान में राज्य के 14 नगर निगमों में आरक्षण की जो स्थिति है, उसी के आधार पर रोटेशन से नया आरक्षण होगा। चुनाव से पहले राज्य सरकार ने वार्डों का परिसीमन कराया, लेकिन नगरीय निकाय सीमा में कोई बदलाव नहीं हुआ है। इसलिए लॉटरी से आरक्षण नहीं होगा। पिछले दो चुनावों रायपुर नगर निगम सीट अनारक्षित रही है। इसलिए इस बार अनारक्षित नहीं किया जाएगा। अब बचे तीन विकल्प यानी अनारक्षित महिला, ओबीसी और ओबीसी महिला। इनमें से ही किसी एक का आरक्षण होगा। तीनों में से कौन सा आरक्षण होगा, यह एक प्रक्रिया से तय किया जाएगा। वर्तमान में नगर निगमों में महापौर आरक्षण की स्थिति अनारक्षित ओबीसी एससी एसटी 14 नगर निगमों का आरक्षण इस तरह होगा वर्तमान में 14 नगर निगमों से सात अनारक्षित हैं और इनमें से दो अनारक्षित महिला हैं। चार ओबीसी, इसमें से एक ओबीसी महिला के लिए आरक्षित है। दो अनुसूचित जाति, इसमें से एक महिला और एक अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित है। चुनाव विशेषज्ञों के अनुसार आरक्षण के लिए सबसे पहले अनारक्षित सात सीटों में से चार सीटें ओबीसी के लिए लॉटरी से निकाली जाएंगी। चार ओबीसी सीटें निकलने के बाद ओबीसी में से एक सीट महिला ओबीसी के लिए लॉटरी से तय होगी। इस तरह चार सीटें ओबीसी के निकलने के बाद अनारक्षित की तीन सीटें बचेंगी। अनारक्षित तीन और ओबीसी की चार सीटें यानी कुल सात सीटें अनारक्षित के लिए बच जाएंगी। इन अनारक्षित सीटों में से रोटेशन के आधार पर महिला-पुरुष के लिए आरक्षण होगा। भिलाई-चरौदा और रायगढ़ सीटें एससी के लिए आरक्षित हैं। रायगढ़ अभी महिला एससी है। यह पुरुष और भिलाई चरौदा महिला होगी। इसी तरह अंबिकापुर अभी अनुसूचित जाति लिए आरक्षित है। इसे अनुसूचित जाति महिला के लिए आरक्षित किया जाएगा। 31 तक आचार संहिता, नहीं तो टालेंगे चुनाव विशेषज्ञों के अनुसार राज्य के 10 नगर निगमों, पालिकाओं में चुनाव आचार संहिता लगाने के लिए राज्य सरकार के पास 31 दिसंबर 2024 तक का समय है। यदि 31 दिसंबर तक चुनाव आचार संहिता की घोषणा हो जाती है तो जनवरी में चुनाव होने की पूरी संभावना है। यदि सरकार आचार संहिता की घोषणा नहीं कर पाती तो चुनाव अप्रैल-मई तक जाना तय हो जाएगा। चुनाव से जुड़े जानकारों का कहना है कि मतदाता सूची तैयार करने के लिए जनवरी 2024 तक की स्थिति में नए मतदाताओं को लिया गया है। अब यदि आचार संहिता अगले साल घोषित होती है तो चुनाव आयोग को नया मतदाता सूची तैयार करना पड़ेगा।, क्योंकि जनवरी 2025 में 18 साल की उम्र पूरी करने वाले युवाओं को मतदाता सूची में शामिल करना पड़ेगा। नाम जोड़ना, नया मतदाता सूची बनाना, उसका प्रकाशन, दावा आपत्ति और फिर अंतिम प्रकाशन में दो-ढाई महीने का वक्त लग जाएगा। इस स्थिति में चुनाव अप्रैल-मई से पहले होना संभव नहीं है। आरक्षण की वर्तमान स्थिति के आधार पर ही इस चुनाव के लिए आरक्षण की प्रक्रिया अपनाई जाएगी। इस लिहाज से रायपुर में सामान्य महिला, ओबीसी और ओबीसी महिला में से किसी एक के लिए सीट आरक्षित होगी।
डा. सुशील त्रिवेदी, चुनाव मामलों के विशेषज्ञ